सीएचसी शहजादपुर में सीनीयर कंसल्टेंट डॉ. अनिल गर्ग में लोगों को लू (हीट वेव) के बारे में जानकारी दी।
-हीट वेव (लू) पीडि़त मरीजों के लिए सीएचसी शहजादपुर में है सभी प्रबंध एवं व्यवस्थाएं-एसएमओं डॉ. तरूण प्रसाद।
दोपहर 12 से 3 के बीच बाहर निकलने से बचें।
-एसएमओं डॉ. तरूण प्रसाद बोले जो लोग फील्ड वर्क करते हैं, तो उन्हेें इलेक्ट्रोलाइट्स का सेवन करते रहना चाहिए, अपने साथ ओआरएस का घोल जरूर रखें, हीट वेव के कारण होने वाली बीमारी से बचने के लिए खीरा-ककड़ी का सेवन करें।
-सीएचसी शहजादपुर में सीनीयर कंसल्टेंट डॉ. अनिल गर्ग में लोगों को लू (हीट वेव) के बारे में जानकारी।
शहजादपुर, 31 मई। इन दिनों गर्मी कहर बरपा रही है। गर्मी के कारण लोग लू की चपेट में आ रहे हैं। इससे बचने के उपाय जान कर बचा जा सकता है।
हीट वेव (लू) से बचने के लिए क्या करें और क्या नहीं? इस समय देश के कई राज्यों में भीषण गर्मी का माहौल है। लोग हीट वेव या लू से परेशान हैं। पिछले कुछ दिनों के मौसम को देखें तो हीट वेव की समस्या तीव्र हो गई है। जो लोग ठंडे मौसम वाले इलाके से गर्म मौसम वाले इलाके में जाते हैं, उन्हें लू की समस्या जल्दी होती है। गर्मी में लू की चपेट में आने के कारण जी मचिलाना, बुखार, सिर दर्द, उल्टी, डायरयिा जैसे लक्षण नजर आने लगते हैं। बड़े हो या बच्चे कोई भी हीटवेव से प्रभावति हो सकता है। इस मौसम में खुद को सुरक्षित रखने के लिए कुछ आसान टिप्स का ध्यान रख कर हीट वेव की समस्या से बचा जा सकता है।
सीएचसी शहजादपुर के एसएमओं डॉ. तरूण प्रसाद ने कहा कि हीट वेव (लू) पीडि़त मरीजों के लिए सीएचसी में सभी प्रबंध एवं व्यवस्थाएं है। उन्होंने कहा कि विभिन्न रोगों के जो रूटिन के मरीज एवं उनके परिजन सीएचसी व पीएचसी में आते है, उन्हें हीट वेव (लू) से बचने के लिए क्या करें और क्या नहीं के बारे में बताया जा रहा है।
सीएचसी शहजादपुर में सीनीयर कंसल्टेंट डॉ. अनिल गर्ग में लोगों को लू (हीट वेव) के बारे में जानकारी दी।
क्या करें और क्या नहीं-
लू लगने पर थकान हो सकती है, अगर आपको अचानक थकान महसूस हो रही है, तो समझ जाएंं यह लू लगने का लक्षण है। लू लगने पर भी बुखार जैसे लक्षण महसूस होते हैं। लू लगने पर सिर में दर्द, बेहोशी, चक्कर आना, उल्टी या दस्त, मांसपेशियों में ऐंठन आदि लक्षण महसूस हो सकते हैं। हीट वेव के कारण हीटस्ट्रोक का खतरा बढ़ जाता है। हीटस्ट्रोक के कारण इंसान को अचानक चक्कर आ सकते हैं या वह बेहोश हो सकता है। सिर में तेज दर्द भी महसूस होता है।
हीट वेव से बचने के लिए क्या करें-
इस मौसम में घर को ठंंडा रखें और वेंटिलेशन का ख्याल रखें। गर्मी के मौसम में पर्याप्त मात्रा में पानी का सेवन करें।
अगर आप बाहर जा रहे हैं, तो छाता या टोपी का इस्तेमाल करें। कपड़े की मदद से चेहरा, सिर, गर्दन को कवर करें।
बाहर जा रहे हैं, तो शरीर को अच्छी तरह से कवर करके रखें। फुल बाजू वाली शर्ट पहनें।
फील्ड वर्क करते हैं, तो आपको इलेक्ट्रोलाइट्स का सेवन करते रहना चाहिए। अपने साथ ओआरएस का घोल जरूर रखें। हीट वेव के कारण होने वाली बीमारी से बचने के लिए खीरा-ककड़ी का सेवन करें। इसमें पानी की मात्रा ज्यादा होती है। इसे खाने से लू से बचाव होता है। अपनी डाइट में नारियल पानी को भी शामलि करें। नारियल पानी में मौजूद विटामिन्स, लू की समस्या से बचाव करते हैं।
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हीट वेव से बचने के लिए क्या न करें-हीट वेव से बचना चाहते हैं, तो बहुत जरूरी होने पर ही घर से बाहर निकलें।
दोपहर 12 से 3 के बीच बाहर निकलने से बचें। कॉफी, चाय, एल्कोहल का सेवन गर्मी के मौसम में नहीं करना चाहएि। इससे बॉडी में डिहाइड्रेशन के लक्षण नजर आने लगेंगे और आप लू की चपेट में आ सकते हैं।
धूप या गर्मी में ऐसी चीजों का सेवन न करें जो जरूरत से ज्यादा ठंडी हो। जैसे आइसक्रीम खाना या ठंडी कोल्ड ड्रिंक पीना। इस आदत के कारण लू लग सकती है। बाहर जा रहे हैं, तो खाली पेट घर से न निकलें। इस कारण आपकी तबीयत खराब हो सकती है। कुछ न कुछ खाकर ही घर से बाहर जाना चाहिए। अगर आप भी देर तक बाहर रहते हैं, तो आपको बता दें कि लू की चपेट में आने का यह एक मुख्य कारण है। इस स्थिति से बचना चाहिए।
एसी की हवा से निकलकर बाहर नहीं जाना चाहिए। इसी तरह बाहर से आकर एसी चलाने से बचना चाहिए। सीएचसी शहजादपुर में सीनीयर कंसल्टेंट डॉ. अनिल गर्ग में लोगों को लू (हीट वेव) के बारे में जानकारी देते हुए।