सैनी सोसायटी के संस्थापक मास्टर घासीराम को किया नमन!
सच की ध्वनि(ब्यूरो) 06मार्च- सैनी सोसायटी के संस्थापक मास्टर घासीराम को किया नमन
-मास्टर घासीराम ने वर्ष 1939 में की थी सैनी स्कूल की स्थापना
उत्तर-भारत में सैनी समाज की सबसे बड़ी सैनी एजुकेशन सोसायटी के संस्थापक मास्टर घासीराम की 38वीं पुुण्यतिथि पर आज सैनी समाज के मौजीज लोगों तथा सामाजिक संस्था रेडी-टू-हेल्प (आरटीएच) के वोलंटियर्स ने उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की।
इससे पूर्व, उन्होंने मास्टर घासीराम के चित्र पर पुष्प अर्पित कर उन्हें नमन किया तथा सैनी सोसायटी के नींव रखने से लेकर उसके उत्थान तक उनके द्वारा किये गये योगदान की जमकर सराहना की।
इस मौके पर मास्टर घासीराम के पौत्र एवंं आरटीएच वोलंटियर्स मुकेश बागड़ी ने कहा कि उनके दादाजी ने वर्ष 1939 में चमनपुरा स्थित सैनी धर्मशाला के एक कमरे से सैनी स्कूल की शुरूआत की थी। महज कुछ विद्यार्थियों सेे शुरू किये गये इस स्कूल में आगे चलकर हजारों विद्यार्थी हो गये थेे। स्कूल चलने के बाद उनके दादाजी के विचारों को ही आगे बढ़ाते हुुए सैनी एजुेकशन सोसायटी की स्थापना की गई, जो वर्तमान में प्रदेश की बड़ी संस्थाओं में से एक है।
इस अवसर पर सतबीर कोच ने कहा कि सैनी संस्था रूपी जो पौधा मास्टर घासीराम जी ने रोपा था वो आज एक वट वृक्ष बन चुका है और सैनी एजुकेशन सोसायटी वर्तमान में 8 शिक्षण संस्थाएं चला रही है, जिसमें दो कॉलेज भी शामिल है।
जोगेंद्र आर्य व महाबीर कोच ने कहा कि यह मास्टर घासीराम के विचारों का ही परिणाम था कि सैनी समाज ने शिक्षण संस्थाओं को स्थापित करने की दिशा में सार्थक कदम बढ़ाया। प्रवीण तोंदवाल ने मास्टर घासीराम द्वारा किये गये कार्यों पर प्रकाश डालते हुए उपस्थितजनों को उनके पदचिन्हों पर चलने का आहवान किया।
इस मौके पर संदीप खत्री, राजेश सैनी, अश्वनी पंवार, सरदार रूपिंदर सिंह, श्री भगवान, गुरमीत सहित अनेक गणमान्य लोग उपस्थित थे।